पूर्व देवरिया देसाई प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के तहत बनी सड़क जर्जर
तभी से संजा कालोनी से बरमंडल बस स्टैंड तक विभाग द्वारा पानी की उचित निकासी नहीं करने से वर्षों से वाहन चालकों व राहगीरों इसका खामियाजा भुगतना पड़ रहा है।इस पर पैदल निकलना भी मुश्किल हो रहा है। वर्षो तक तो यह सड़क प्रधानमंत्री सड़क में रही फिर भी इस समस्या का किसी ने समाधान करना उचित ही नहीं समझा। फिर इसी सड़क को अलग अलग टुकड़े में लाबरिया बरमंडल, बरमंडल चिराखान को टुकड़ों में बांटकर लोकनिर्माण विभाग को हस्तांतरित कर दिया। वर्षों तक तो यह जर्जर अवस्था में रही। अधिकारियों का इस ओर ध्यान आकर्षित करवाने के लिए मिडिया ने भी अपनी सक्रियता दिखाई । जिससे क्षेत्रवासियों को उम्मीद थी। की यह सड़क टुलेन में तब्दील हो जायेगी लेकिन हुआ इसका उल्टा ही और सिर्फ संधारण कार्य किया गया। जिससे क्षेत्रवासियों की उम्मीदों पर पानी फिर गया। और जो समस्या को कई वर्षों से बनी हुई थी वो आज भी जस की तस ही है। चलों जैसे भी हो कम से कम गड्डों से निजात तो मिल गई। पर ठेकेदार पर मेहरबान अधिकारियों ने भी इस सड़क की सोल्डर का कोई ध्यान नहीं रखा गया। और सोल्डर में मिट्टी युक्त मुरम डालकर साईड पट्टी भरी गई। जब इसकी शिकायत जागरूक पत्रकार गोपाल मारु के द्वारा सीएम हेल्पलाइन नंबर पर शिकायत की गई तो कई बार झुठे प्रतिवेदन देकर शिकायत को बंद करा दिया जा रहा है। और जवाब में इंदौर लेब में टेस्टिंग मुरम बताया जा रहा है। जबकि हकीकत तो कुछ और ही बयां कर रही है। जिसकी पोल पहली बारिश में ही खुल गई जिस मुरम की इंदौर टेस्टिंग बताया वह तो किचड़ भी अभी से ही तब्दील हो गया है। जिससे ही अंदाजा लगाया जा सकता है कि अधिकारियों द्वारा इस सड़क पर किस प्रकार के दोरे हुए।
धार से समंदर सिह राजपूत की रिपोर्ट